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किशनपुर : 70 वर्षों से रेलवे के किनारे झोपड़ी बनाकर गुजर बसर कर रहे महादलितों को रेलवे द्वारा हटाया जा रहा, पीड़ितों की लगायी न्‍याय की गुहार



सुपौल। किशनपुर प्रखंड क्षेत्र के बैजनाथपुर-अंदौली रेलवे हाल्ट के दक्षिण वार्ड नंबर 01 में रेलवे के किनारे बसे महादलित परिवारों को आज तक बासगीत पर्चा सरकार के द्वारा नहीं दिया गया है। करीब तीन दर्जन से अधिक महादलितों के झोपड़ी को रेलवे द्वारा तोड़कर मिट्टी भराई का कार्य किया जा रहा है। अब सभी महादलितों के सामने रहने की विकट समस्या उत्पन्न हो गयी है। बासगीत पर्चा की मांग को लेकर सभी महादलित परिवार जिलाधिकारी से लेकर अंचल कार्यालय किशनपुर का चक्कर लगा रहे हैं। पीड़ित कांति देवी, पुनीता देवी, संगीता देवी, गुंजन देवी, पार्वती देवी, अनीता देवी, सुलझन देवी, रीना देवी, सावित्री देवी, रवीना देवी, सजन देवी, रानी देवी, किरण देवी, आरती देवी, राधा देवी, ललिता देवी, कल्पना देवी, रेशमी देवी, उर्मिला देवी, पुनीता देवी, रोशनी देवी, ननकी देवी, जानकी देवी, समतोलिया देवी, अनिला देवी आद‍ि ने बताया गया कि उनके पूर्वजों द्वारा करीब 70 वर्षों से रेलवे के किनारे झोपड़ी बनाकर गुजर बसर किया जा रहा था। फिलहाल रेलवे विभाग द्वारा सभी दलितों के घर को तोड़ने का नोटिस देकर हटाने का कार्य किया जा रहा है। जिसके कारण सभी दलित परिवार खुले आसमान के नीचे आ गये। इस बाबत अंचल अधिकारी सुशीला कुमारी ने कहा कि महादलित परिवारों द्वारा आवेदन मिला है, आवेदन के आलोक में राजस्व कर्मचारी को जांच के लिये स्थल पर भेजा गया है। जांच रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्यवाही की जाएगी।

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