सुपौल। प्रतापगंज थाना क्षेत्र के सितुहर गांव में 6 फरवरी को फाइनेंस कर्मी अरविंद कुमार की हुई हत्या के मामले में पुलिस ने बड़ी सफलता हासिल की है। जिला के टॉप टेन अपराधियों में शामिल 50 हजार रुपये के इनामी अपराधी उपदेश यादव और उसके साथी मो. रईस को गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस ने इनके पास से एक लोडेड देसी कट्टा, वारदात में इस्तेमाल हीरो स्प्लेंडर बाइक और दो मोबाइल फोन बरामद किए हैं।
पुलिस अधीक्षक शैशव यादव ने मंगलवार दोपहर प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि 6 फरवरी को भेंगा धार के पास एक शव मिलने की सूचना पुलिस को मिली थी। मौके पर पहुंची पुलिस ने शव की पहचान बेलही वार्ड नंबर 03 निवासी अरविंद कुमार (पिता-रामचरण रजक) के रूप में की। जांच में सामने आया कि अरविंद की गोली मारकर हत्या की गई थी और शव को सुनसान इलाके में फेंक दिया गया था।
हत्या की गंभीरता को देखते हुए एसडीपीओ वीरपुर सुरेंद्र कुमार के नेतृत्व में एक विशेष टीम बनाई गई। तकनीकी जांच और वैज्ञानिक अनुसंधान के आधार पर अपराधियों की पहचान हुई। इसके बाद पुलिस ने 50 हजार के इनामी अपराधी उपदेश यादव (जरैला, त्रिवेणीगंज) और मो. रईस (मचहा, सौराजन, प्रतापगंज) को सहरसा रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार किया। पूछताछ में दोनों ने हत्या में अपनी संलिप्तता स्वीकार कर ली।
गिरफ्तारी के बाद पूछताछ में पता चला कि वारदात को अंजाम देने के बाद दोनों आरोपी जिले से बाहर भागने की फिराक में थे, लेकिन पुलिस ने समय रहते उन्हें दबोच लिया। फिलहाल, दोनों अपराधियों को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। एसपी शैशव यादव ने बताया कि जेल में बंद अपराधी सोनू कुमार ने मो. रईस को हत्या के लिए तीन लाख रुपये की सुपारी दी थी। रईस जम्मू में दुकान चलाता था, लेकिन सुपारी लेकर उसने हत्या को अंजाम दिया। योजना के मुताबिक, घटना की खबर अखबार में छपने के बाद ही सुपारी की पूरी रकम दी जानी थी, लेकिन इससे पहले ही दोनों आरोपी पुलिस के हत्थे चढ़ गए।
गिरफ्तार इनामी अपराधी उपदेश यादव के खिलाफ राघोपुर, त्रिवेणीगंज, भपटियाही, प्रतापगंज और भीमनगर थाना में आधा दर्जन से अधिक मामले दर्ज हैं। वहीं, मो. रईस पर प्रतापगंज, भीमनगर और पिपरा थाना में तीन से अधिक मामले दर्ज हैं। एसपी ने कहा कि अपराधियों की धर-पकड़ के लिए जिले में लगातार सघन छापेमारी अभियान चलाया जा रहा है। इस बड़ी सफलता से जिले में कानून-व्यवस्था मजबूत करने की दिशा में पुलिस को अहम कामयाबी मिली है।
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